अकबर का गुस्सा
जो दोस्त कठिनाई में साथ देता है वही सच्चा दोस्त होता है।
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पंचतंत्र की कहानी: शेर और चूहा
बड़े काम के चक्कर में तुम यह भी भूल गए की छोटे-छोटे कामों को करके ही बड़ा काम किया जाता है। छोटे कामों से ही तो बड़े कामों की नीव रखी जाती है, और बड़ा बना जाता है। अब तुम ही बताओ की मेरे सेवा भाव में सहयोग देने के तुम मेरे शिष्य बन सकते हो क्या।
थोड़ी दूर आगे चलने पर व्यक्ति को एक वृद्ध मिला जिसकी गाड़ी पूरी तरह कीचड़ में फस चुकी थी और उसका निकलना मुश्किल सा हो गया था, व्यक्ति की हिष्ट-पुष्ट शरीर को देखकर उस बुजुर्ग ने उसे आवाज लगाया, बेटा क्या तुम मेरे गाड़ी को कीचड़ से निकालने में मेरी मदद करोगे।
सच बोलने वाला सलाहकार – तेनालीराम की कहानी
हंस ने हंसिनी को समझाते हुए कहा कि किसी तरह यहाँ आज की रात काट लेते हैं, क्योंकि अब मुझे समझ आ गया है कि यह जगह इतना सुनसान क्यों है। इस तरह का उल्लू जिस जगह पर रहेगा वहां वीरान तो रहेगा ना।
गाँधी जी के ज़माने में छूआछूत का बोलबाला था. उनका उस ज़माने में अपनी ऐसी सोच रखना उनकी महानता को दर्शाता है.
शकुंतला और दुष्यंत की प्रेम कथा
तब से गाँधी जी ने अपने पूरे जीवन में कभी भी मांस को हाथ तक नहीं लगाया और अहिंसा का पालन करने की ठान ली.
पंचतंत्र की कहानी: मित्र की सलाह more info – mitra ki salah
पंचतंत्र की कहानी: बिल्ली का न्याय – billi ka nyay
महामंत्री को राजा का आदेश हर स्थिति में पूर्ण करना था. इसलिए उसने भगवान विष्णु की प्रतिमा निर्मित करने का कार्य गाँव के एक साधारण से मूर्तिकार को सौंप दिया.